प्रधानमंत्री मोदी ने सीएम राइज स्कूल, सुशासन और अन्य कल्याण योजनाओं की तारीफ, प्रधानमंत्री के साथ किसानों की आय बढ़ाने और अन्य विषयों पर हुई सार्थक चर्चा
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मध्यप्रदेश शासन की सी.एम. राईज स्कूल योजना, सुशासन और अन्य कल्याणकारी योजनाओं के क्रियान्वयन की सराहना की है। प्रधानमंत्री ने प्रदेश में टीकाकरण अभियानों की सफलता पर भी प्रसन्नता व्यक्त की। प्रधानमंत्री मोदी से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने नई दिल्ली में मुलाकात की।
मुख्यमंत्री चौहान ने प्रदेश की कोविड नियंत्रण, कोविड टीकाकरण, वर्षा की स्थिति सहित विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं की प्रगति से प्रधानमंत्री श्री मोदी को अवगत कराया। श्री चौहान ने प्रधानमंत्री श्री मोदी को मध्यप्रदेश में कोविड की स्थिति की जानकारी देते हुये बताया कि प्रदेश में कोरोना संक्रमण नियंत्रण में है और इस समय केवल 127 ही एक्टिव प्रकरण हैं। प्रदेश में 88 प्रतिशत लोगों को कोविड वैक्सीन की प्रथम डोज और 27 प्रतिशत लोगों को द्वितीय डोज लगाये जा चुके हैं।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने प्रधानमंत्री श्री मोदी को सीएम राईज स्कूल योजना से अवगत कराया। उन्हें बताया कि गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने के लिये प्रदेश में 350 विद्यालय खोले जा रहे हैं जो खेल के मैदान, पुस्तकालय और प्रयोगशालाओं जैसी सुविधाओं से संपन्न होगें और विद्यार्थियों के लिये बसों से आने-जाने की सुविधा होगी। साथ ही शिक्षकों का चयन वर्तमान शिक्षकों में से ही परीक्षा के आधार पर किया जायेगा। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने मध्यप्रदेश के इस नये शिक्षा प्रयोग की प्रशंसा की।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि वर्ष 2023 को संयुक्त राष्ट्र संघ ने मोटे अनाज के वर्ष के रूप में घोषित किया है जिसकी तैयारी में मध्यप्रदेश कोदो-कुटकी जैसे पौष्टिक मोटे अनाज का उत्पादन करने वाले स्व-सहायता समूहों को प्रोत्साहित कर रहा है। साथ ही उन्होंने इस बात पर चर्चा की कि प्रदेश में अत्यधिक और कम उत्पादन वाली फसलों के बीच संतुलन बनाते हुए मध्यप्रदेश को एक मॉडल राज्य बनाया जाएगा। जिसमें निर्यात की अधिक संभावना वाली फसलों को बढ़ावा दिया जाएगा। फसलों के विविधीकरण और व्यवसायिक खेती पर चर्चा के दौरान प्रधानमंत्री श्री मोदी ने प्रदेश में चंदन की खेती करने का सुझाव दिया, जिससे किसानों को अधिक लाभ मिल सके।
राज्य शासन की एथेनॉल पालिसी के बारे में चर्चा के दौरान मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बताया कि 28 कम्पनियों ने एथेनॉल के उत्पादन के लिये प्रदेश में आवेदन किया है। अनाज के आवश्यकता से अधिक उत्पादन का उपयोग एथेनॉल बनाने में किया जा सकता है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने सुझाव दिया कि विकास कार्यों के लिये ली गई वन भूमि के स्थान पर दुगनी राजस्व भूमि देनी पड़ती है, जिसके स्थान पर यदि बिगड़े वनों पर तीन गुना अधिक वन लगाने का दायित्व दिया जाये तो वन क्षेत्र में बढ़ोतरी होगी।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने प्रदेश में सुशासन व्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिये विभिन्न विषयों पर प्रधानमंत्री श्री मोदी से मंत्रणा की। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बताया कि मध्यप्रदेश में योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन के लिये पंचायत स्तर पर दीनदयाल समितियों का गठन किया गया है जो विकास योजनाओं की उचित निगरानी कर रही हैं। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने प्रधानमंत्री श्री मोदी को जानकारी दी कि वे जनदर्शन कार्यक्रम के दौरान जनता से सीधा संवाद कर हितग्राहियों को प्राप्त लाभों का भौतिक सत्यापन कर रहे हैं। उनके इस प्रयास को प्रधानमंत्री श्री चौहान ने काफी सराहा। श्री चौहान ने राज्य के मंत्रियों और उनके स्टाफ की क्षमता निर्माण के लिये कर्मयोगी अभियान पर भी चर्चा की। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने प्रदेश में व्हाउचर सिस्टम लागू करने का भी सुझाव दिया।
बैठक के दौरान मुख्यमंत्री श्री चौहान ने प्रधानमंत्री श्री मोदी को स्वामित्व योजना के अंतर्गत हरदा जिले में 100 प्रतिशत अधिकार पत्र प्रदान करने के र्कायक्रम में सम्मिलित होने का निमंत्रण दिया। साथ ही, मध्यप्रदेश के अत्याधुनिक भोपाल रेलवे स्टेशन के लोकार्पण और 15 नवम्बर को आयोजित होने वाले जनजातीय गौरव दिवस के लिये भी मध्यप्रदेश आने का निमंत्रण दिया।
बैठक में आयुष्मान भारत योजना, डिजिटल हेल्थ मिशन, सिकलसेल एनिमिया मिशन पर भी चर्चा हुई। श्री चौहान ने प्रदेश में खाद आपूर्ति की स्थिति से भी प्रधानमंत्री श्री मोदी को अवगत कराया।