गृह मंत्री से मिलकर भावुक हुआ वंशकार परिवार
गृह मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा गुरुवार को दतिया जिले के दो दिवसीय प्रवास के दौरान ग्राम कोटरा में बाढ़ प्रभावितों से मिलने के लिये पहुँचे। उन्होंने प्रभावितों को ढांढस बंधाते हुए आश्वस्त किया कि शिवराज सरकार जनता के सुख-दु:ख में मदद करने के लिये हर समय तैयार है। गृह मंत्री डॉ. मिश्रा से मिलकर कोटरा का वंशकार परिवार भावुक हो गया। वंशकार परिवार की बेटी भावना ने रोते हुए कहा कि 4 अगस्त को गृह मंत्री डॉ. मिश्रा यदि बोट लेकर नहीं आते और हेलीकॉप्टर नहीं बुलाते, तो हम सभी उसी दिन खत्म हो जाते।
गृह मंत्री डॉ. मिश्रा गुरुवार को कोटरा में बाढ़ प्रभावित परिवारों से मिलने के लिये पहुँचे। गाँव में डॉ. मिश्रा से लिपटकर वंशकार परिवार के सदस्य रोने लगे। रुंधे गले से परिवार के सदस्यों ने डॉ. मिश्रा का नया जीवन प्रदान करने के लिये आभार व्यक्त किया। भावना वंशकार ने बताया कि 4 अगस्त को चारों ओर पानी ही पानी था, त्राहिमाम मचा हुआ था। गाँव के सभी घर बाढ़ के पानी में डूब गये थे। पंचायत भवन की छत ही ऐसी जगह थी, जहाँ पानी नहीं पहुँचा था। इसलिये हमारा परिवार जान बचाने के लिये पंचायत भवन की छत पर चढ़ गया था। बाढ़ के पानी के निरंतर बढ़ने से लगातार उम्मीदें टूटती जा रही थीं। ऐसी विपत्ति के समय “दादा” गृह मंत्री डॉ. मिश्रा हम सभी की जान बचाने के लिये मोटरबोट लेकर आते दिखे। हमारी जान में जान आयी। मोटरबोट पंचायत भवन तक पहुँच गई, लेकिन तभी अचानक मोटरबोट खराब हो गई। एक बार फिर उम्मीद टूटती हुई दिखी, तभी दादा ने तुरंत फोन लगाकर सेना का हेलीकॉप्टर बुला लिया। पहले हमारे परिवार के सदस्यों को उन्होंने हेलीकॉप्टर में भेजा और उसके बाद वे स्वयं हेलीकॉप्टर में आये। उस दिन दादा नहीं होते तो हममें से कोई भी आज जीवित नहीं होता।
गृह मंत्री डॉ. मिश्रा द्वारा आम जनता की जान बचाने के लिये स्वयं की जान को जोखिम में डालकर बाढ़ में पहले मोटरबोट से और फिर हेलीकॉप्टर से किये जाने वाले प्रयास की हर कोई मुक्त कंठ से सराहना कर रहा है। क्षेत्रवासियों ने राज्य सरकार और गृह मंत्री डॉ. मिश्रा द्वारा बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत कार्यों में किये गये विशेष प्रयासों के प्रति आभार माना है।